साईकिलवाड़ी गॉव की पगडंडियों से निकला संतोष कण्डवाल, जम्मू कश्मीर से कन्याकुमारी तक करेगा, 4000 किलोमीटर सोलो साईकिल सवारी।

(दिनेश कंडवाल)
पूत के पॉव पालने में ही देखे जाते हैं, यह पॉव हमने संतोष के बचपन के पालने मेंं देख लिये थे। बचपन में पढाई लिखाई के साथ साथ खेलकूद में भी यह युवा अब्बल रहा। गॉव की गलियों, पगडंडियों, खेतों खलिहानों में आम बालक की तरह खेलने वाला यह बालक आज स्पोर्टस में अपने क्षेत्र के नाम को रोशन कर रहा है। संतोष कण्डवाल असम गुहावाटी में रहकर अरूणाचंल प्रदेश एवं अन्य पूर्वी राज्यों में हजारों किलोमीटर सोलो साईकिलिंग कर खेल प्रेमियों को प्रोत्साहित कर रहा हैं।

यह संतोष कण्डवाल का जूनून ही है कि उसने देश में युवाओं को खेल के साथ स्वास्थ्य के प्रति जागरूक करने के लिए सोलो साईकिल से देश के उत्तरी भाग, जम्मू कश्मीर से कन्याकुमारी तक 25 दिन में 4000 किलोमीटर की तय करने का उपक्रम निर्धारित किया है। संतोष कण्डवाल का जूनून ही है कि आज वह इस तरह के जोखिम भरे खेल को अपना शौक बनाकर खेल प्रेमियों को उत्साहित कर रहा है। पहले हम संतोष कण्डवाल का जीवन परिचय से आगे की यात्रा के बारे में चर्चा करते हैं।
संतोष कण्डवाल उत्तराखण्ड राज्य के जिला पौड़ी गढवाल, यमकेश्वर प्रखण्ड के दिवोगी ग्राम सभा के रकबा ग्राम साईकिलवाड़ी के श्री जगदीश प्रसाद कण्डवाल के सबसे छोटे पुत्र हैं, जो इस समय असम के गुवाहाटी शहर में डेकॉथलान कम्पनी में स्पोर्ट लीडर साईकिलिंग में अपना कैरियर बना रहे हैं। पिछले एक साल में संतोष कण्डवाल ने साईकिलिंग के इस जूनून के चलते पूर्वी राज्यों में अपना जलवा बिखेरा है। संतोष कण्डवाल को माउंटेन बाईकर नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ माउण्टेंनिंग एण्ड एलाईड स्पोर्टस अरूणाचंल प्रदेश द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जा चुका है।
संतोष कण्डवाल बताते हैं कि हर रोज कई किलोमीटर साईकिलिंग से हम असम समेत अन्य पूर्वी राज्यों के पहाड़ी क्षेत्रों में दुर्गम स्थानों में जाकर वहॉ के युवाओं को स्पोर्टस के लिए प्रेरित करते हैं। वह आगे बताते हैं कि मेरा सपना या जूनून समझो मैं चाहता हॅूं कि खेल को कई लोगों के लिए सुलभ बनाना। मेरा उद्देश्य अपनी यात्रा पर खेल और प्रेरक लोगों को बढावा देना है। इसी लक्ष्य को निर्धारित करते हुए मैनें जम्मू कश्मीर से कन्याकुमारी तक 4000 किलोमीटर की दूरी सोलो साईकिल से यात्रा करके युवाओं को खेलों के प्रति जागरूक करना है। आज जहॉ मोबाईल और कम्प्यूटर पर गेम आने से शारीरिक खेलों में नये युवाओं का क्रेज घट गया है, जिस कारण स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है, उसके लिए हमें उन्हें आउटडोर गेम के लिए उन्हें परिपक्व करना है, मैं यही मैसेज लेकर जाना चाहता हूॅं। इस यात्रा के बाद मेरी अगली सोलो साईकिल यात्रा उत्तराखण्ड राज्य में होगी।
संतोष कण्डवाल ने बताया कि आगामी मार्च माह में मेरे द्वारा जम्मू कश्मीर से कन्याकुमारी तक 4000 किलोमीटर की दूरी नौ राज्यों से होकर 25 दिन में यात्रा में लगभग हर सौ किलोमीटर के पड़ाव में जो भी गॉव या शहर रास्ते में मिलेगा मेरी कोशिश रहेगी कि वहॉ पर किसी भी खेल मैदान में जाकर खेलने वाले बच्चों को खेल के लिए प्रोत्साहित करूं और जरूरत मंदों को खेल सामग्री उपलब्ध कराऊॅ। समाज के उन खेल प्रेमियों से अनुरोध है कि इस यात्रा के पड़ाव में पड़ने वाले जरूरत मंद बच्चांं के लिए खेल सामग्री उपलब्ध कराने हेतु क्राउडफिंडंग करने में सहयोग करें। क्राउडफंडिग के जरिये मिलने वाले वित्त पोषित राशि का उपयोग जरूरत मंदों के लिए खेल सामग्री को खरीदने और खराब सुसज्जित स्थानीय खेल के मैदानों को दान करने के लिए किया जायेगा। उन्होने कहा कि इस वित्त पोषित धनराशि का उपयोग गॉव में (नार्थ ईस्ट ) में प्रत्येक 100 किमी0 पर पिच स्टॉप में स्थानीय समुदायों के साथ कार्यशाला का आयोजन किया जायेगा। इस यात्रा का उद्देश्य रास्तों में होने वाले सभी खर्चो में उनकी मदद करने के लिए एक क्राउडफिंडग को बढाने के लिए एक प्रयास है।
यदि कोई संतोष कण्डवाल को इस जूनूनी यात्रा के लिए क्राउडफिंडग करने का इच्छुक है तो वह निम्न माध्यमों से सहयोग राशि उपलब्ध करा सकता है, आपके इस सहयोग से वह अनेकों जरूरत मंद खेल प्रेमियों को खेल से जोड़ने में उसका प्रयास सफल होगा।
पेटीएम के माध्यम से भुगतान करने के लिए (केवल एंड्रॉइड उपयोगकर्ताओं के लिए) – http://m.p-y.tm/pay-milaap?comment=originId_139021&amount=2500&amount_editable=1
UPI भुगतान के लिए: * givetomlpsantosh58 @ Yesbankltd * https://milaap.org/fundraisers/support-santosh-51/upi_deeplink (आप BHIM, PhonePe या किसी भी UPI ऐप का उपयोग करके इस आईडी पर पैसे भेज सकते हैं)।