जान बचाने ऋषिकेश से दिवाली पर भी सीएमआई दौड़ पड़े इंस्पेक्टर सतेन्द्र भाटी!
देहरादून 8 नवम्बर 2018 (हि. डिस्कवर)
विश्व हिन्दू परिषद् रक्तदान समूह से सूचना प्राप्त होने और संगठन के आग्रह पर ऋषिकेश थाने में तैनात इंस्पेक्टर सुरेन्द्र भाटी तब देहरादून दौड़ पड़े जब उन्हें पता चला कि सीएमआई देहरादून में भर्ती एक महिला जिन्दगी और मौत के अंतिम दो तीन घंटे गिन रही है! विश्व हिन्दू परिषद कोटद्वार शाखा के संजय थपलियाल के अनुरोध पर सोशल साईट पर मनोज इष्टवाल ने भी अपील की थी कि एक महिला को ओ नेगेटिव खून की आवश्यकता है जिस पर कई प्रतिक्रियाएं आई और कई महानुभावों ने इसे फेक न्यूज़ तक करार दे दिया! सच्चाई यह है की जिसे जिन्दगी बचानी होती है वह इस बात की कतई प्रवाह नहीं करता कि कहीं यह सही है भी कि नहीं! वहीँ सतेन्द्र भाटी ने भी किया!
विश्व हिन्दू परिषद् कोटद्वार जिलामंत्री प्रसार संजय थपलियाल ने जानकारी देते हुए बताया कि एक अंजान महिला जिसको डेंगू हो गया था, उसकी प्लेटस काफी कम थी और डाक्टरों द्वारा दो घंटे का समय दिया गया था! तब संगठन के निवेदन पर कोटद्वार पूर्व स्नेह चौकी इंचार्ज सतेन्द्र भाटी बिना समय गंवाए ऋषिकेश से देहरादून जा पहुंचे और खून देकर महिला की जान बचाई! उन्होंने इंस्पेक्टर सतेन्द्र भाटी का धन्यवाद करते हुए कहा कि उन्हें नाज है कि हमारे पास ऐसे जवान भी हैं जो मौक़ा पड़ने पर अपने को साबित करने में कोई कोर-कसर नहीं रखते ! उन्हें विश्व हिन्दू परिषद् कोटद्वार सलूट करती है!
वहीं सोशल साइट पोस्ट देखकर श्रीमती सुहाशिनी नेगी ने भी दो रक्त दाताओं के नाम लिख भेजे जबकि खबर लिखे जाने तक धर्मपुर निवासी सहाबुद्दीन खान ने भी खून देने की इच्छा जाहिर की जिस से यह तो तय हो गया है कि आज भी इंसानियत अपना लवादा ओढे खड़ी है।
बहरहाल वर्तमान में ऋषिकेश थाणे में तैनात सब इंस्पेक्टर सतेन्द्र भाटी को यह खबर जैसे ही पता चली वह तब देहरादून के लिए दौड़ पड़े जब शांयकाल को हर शख्स अपने परिवार के साथ दीपावली के पटाके फुलझड़ियाँ जलाना पसंद करता है! सतेन्द्र भाटी को इस सबसे ऊपर वह जिन्दगी लगी जो मौत की अंतिम साँसे गिन रही थी! सचमुच अपना खून देकर दूसरे की जान बचाने पहुंचे ऐसे युवा इंस्पेक्टर हम सब के लिए प्रेरणास्रोत हैं ! इस दीवाली पर उन्हें सौ सलूट!